
दिल्ली में 90% नालों की सफाई पूरी – मंत्री प्रवेश वर्मा का दावा | नबी करीम की अनदेखी पर Bhavishya Kala Educational and Welfare Society ने उठाई आवाज़
दिल्ली के सिंचाई एवं बाढ़ नियंत्रण मंत्री प्रवेश साहिब सिंह वर्मा ने मंगलवार को राजधानी के विभिन्न जल निकासी नालों का निरीक्षण किया। उन्होंने मीडिया को बताया कि विभाग के अंतर्गत आने वाले कुल 77 बड़े नालों में से 90% की सफाई पूरी हो चुकी है। शेष नालों की सफाई का कार्य 15 जून 2025 तक पूरा कर लेने के निर्देश दिए गए हैं।
मंत्री वर्मा ने यह भी बताया कि इस वर्ष मानसून के दौरान यमुना नदी में जलस्तर, बाढ़ की स्थिति, और जलभराव की निगरानी हेतु शास्त्री नगर स्थित कार्यालय में एक अत्याधुनिक कंट्रोल रूम स्थापित किया गया है, जिससे सभी संवेदनशील क्षेत्रों पर रियल टाइम नज़र रखी जाएगी।
🚨 पूर्ववर्ती सरकारों की लापरवाही पर टिप्पणी करते हुए मंत्री ने कहा:
> “पहले की सरकारों के पास तो नालों का पूरा रिकॉर्ड तक नहीं था। भाजपा सरकार ने एक-एक नाले की पहचान कर उसकी सफाई सुनिश्चित की है।”
🏫 नबी करीम की हालत चिंताजनक, Bhavishya Kala Educational and Welfare Society की अपील
जहां एक ओर राजधानी के नालों की सफाई की प्रगति सराहनीय है, वहीं नबी करीम क्षेत्र की स्थिति अभी भी बेहद गंभीर बनी हुई है। क्षेत्र में जलभराव, बदबूदार नाले, और गंदगी के कारण स्थानीय लोगों का जीवन प्रभावित हो रहा है।
📢 इस मुद्दे को लेकर Bhavishya Kala Educational and Welfare Society के अध्यक्ष मोहम्मद ज़ुलकरनैन ने एक कड़ा संदेश दिया:
> “हम सरकार के प्रयासों की सराहना करते हैं, लेकिन नबी करीम जैसे घनी आबादी वाले इलाकों को नजरअंदाज़ नहीं किया जा सकता। यहां बड़ी संख्या में यूपी, बिहार, बंगाल और नेपाल से आए दिहाड़ी मजदूर रहते हैं जिनके बच्चे गंदगी के बीच पढ़ने को मजबूर हैं।”
> “हम निवेदन करते हैं कि मंत्री जी स्वयं नबी करीम का दौरा करें और विशेष सफाई अभियान चलाकर इसे भी दिल्ली के साफ-सुथरे इलाकों की सूची में शामिल करें। यह केवल सफाई नहीं, बल्कि सम्मान और बराबरी का सवाल है।”
👥 संस्था ने यह भी सुझाव दिया है कि नबी करीम जैसे क्षेत्रों में स्थायी स्वच्छता व्यवस्था, जल निकासी की मजबूती, और निगरानी टीमों की नियुक्ति की जाए, ताकि मानसून में किसी प्रकार की जन-हानि या स्वास्थ्य संकट न हो।
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💬 यह अपील राजधानी के उन तमाम इलाकों की ओर भी इशारा करती है जो विकास की रफ्तार से अब तक वंचित हैं। Bhavishya Kala Educational and Welfare Society दिल्ली सरकार से विनम्रतापूर्वक आग्रह करती है कि वह सामाजिक संतुलन और नागरिक अधिकारों को प्राथमिकता देते हुए हर क्षेत्र को समान रूप से विकास से जोड़े।