अवैध रूप से काम पर रखे गए 437 लोगों के वेतन पर खर्च किए गए करदाताओं के करोड़ों रूपए, आम आदमी पार्टी और दोषी अधिकारियों से वसूल की जाए रकम । – चो अनिल कुमार
सुषमा रानी
नई दिल्ली, 6 जुलाई, – दिल्ली प्रदेश कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष चौ0 अनिल कुमार ने आज आम आदमी पार्टी द्वारा दिल्ली सरकार में संवैधानिक प्रावधानों का उलंघन करके 437 आम आदमी पार्टी के समर्थकों को अप्रत्याशित वेतन के साथ भर्ती करने के मामले में उपराज्यपाल को पत्र लिखकर इसकी आपराधिक मुकदमा दर्ज करके जांच करने की मांग की और कहा कि वर्षों से सरकारी खजाने से इनको मिल रहे वेतन की वसूली आम आदमी पार्टी से की जाये।
प्रदेश अध्यक्ष ने कहा कि अरविन्द केजरीवाल ने दिल्ली सरकार में अपने पार्टी कार्यकर्ताओं की मनमाने ढंग से नियुक्ति करके दिल्ली के युवाओं के साथ विश्वासघात किया है।चौ0 अनिल कुमार ने कहा कि अपने को सबसे ईमानदार कहने वाले अरविन्द केजरीवाल ने स्वार्थ और निजी हित की राजनीति के अलावा दिल्ली में कुछ नही किया है। संवैधानिक प्रक्रिया में उच्च पद पर मिलने वाले अधिकारी के वेतन से भी अधिक गैर कानूनी रुप से नियुक्त किए गए पार्टी समर्थकों को अधिकतम 2.65 लाख प्रतिमाह और न्यूनतम 60,000 रुपये वेतन पर आसीन करके अपराधिक काम किया है।
उन्होंने कहा कि आम आदमी पार्टी की दिल्ली में सरकार से पूर्व में दिल्ली में कांग्रेस और भाजपा की सरकारों के मुख्यमंत्री शीला दीक्षित, मदन लाल खुराना, सुषमा स्वराज, साहिब सिंह वर्मा और ने कभी भी अपने पद और पार्टी की आकांक्षाओं की पूर्ति के लिए अवैध नियुक्तियां नही की।चौ0 अनिल कुमार ने कहा कि लोकतांत्रिक प्रक्रिया द्वारा चुनी हुई सरकार द्वारा असंवैधानिक प्रावधानों का उलंघन करके निजी लोगों की सीधी भर्ती करना एक अपराधिक मामला है जिसकी जांच होना आवश्यक है। उन्होंने कहा कि दिल्ली सरकार के उन अधिकारियों को भी दंडित किया जाना चाहिए जिन्होंने अरविन्द केजरीवाल के निर्देश पर गैर कानूनी नियुक्तियों को अंजाम दिया है तथा इसकी भी जांच हो कि इस मामले में किन नेताओं की मिली भगत है।
उन्होंने कहा कि इन अवैध नियुक्तियांे के माध्यम से आप पार्टी के समर्थकों ने आम आदमी पार्टी के लिए राजनीतिक रुप से काम करते हुए परामर्श के रुप में करोड़ों के सरकारी धन को लूटा है।चौ0 अनिल कुमार ने कहा कि अरविन्द केजरीवाल ने दिल्ली का मुख्यमंत्री होने के बावजूद बिना कोई विभाग संभाले हर विभाग की फीडबैक लेने और निगरानी रखने उदेश्य से यह अवैध नियुक्यिां दिल्ली विधानसभा, डीडीसीडी (दिल्ली संवाद और विकास आयोग), योजना विभाग, मुख्यमंत्री शहरी नेता फैलोशिप कार्यक्रम में प्रमुख पदों पर की गई। उन्होंने कहा कि बिना किसी जिम्मेदारी के सभी भत्तों और शक्तियों का लाभ उठाने वाला यह एक अनूठा मामला था, जिसके तहत अरविन्द केजरीवाल ने अपने पार्टी कार्यकर्ताओं को विशेष प्रावधान के तहत प्रतिमाह वेतन पर नियुक्त किया, जिसकी जांच होना जरुरी है।
उन्होंने कहा कि इन कर्मचारियों ने सरकार में रहकर आम आदमी पार्टी का काम किया इसलिए वर्षों इनको मिले वेतन की वसूली आम आदमी पार्टी से की जानी चाहिए।